December 23, 2024 3:55 am

सैकड़ों वर्ष पुराने मंदिर का अस्तित्व दिख रहा मिटता हुआ : भंवरेश्वर महादेव मंदिर

लखनऊ। डालीगंज क्षेत्र में स्थित कुतुबपुर का एक प्राचीन धरोहर स्थल है। इस मंदिर का इतिहास लगभग 500 वर्ष पुराना है, जो इसे वास्तुकला, धार्मिक आस्था और सांस्कृतिक धरोहर के लिहाज से अत्यधिक महत्व देता है लेकिन अब इसका कोई ध्यान नहीं इस घनी आबादी के बिच यह ऐतिहासिक मंदिर छुप गया

हालांकि, वर्तमान में इस ऐतिहासिक मंदिर का अस्तित्व खतरे में है क्युकी इसके आसपास धीरे धीरे कब्ज़ा होता जा रहा है उपेक्षा, समय के प्रभाव और रखरखाव की कमी के कारण मंदिर धीरे-धीरे अपने पुराने वैभव को खो रहा है। इसे संरक्षित करने और पुनरुद्धार करने के लिए प्रशासन और स्थानीय लोगों का ध्यान आकर्षित करना आवश्यक है की

ऐतिहासिकता जरुरत और महत्वपूर्ण प्रश्न यह है की भंवरेश्वर महादेव मंदिर को प्राचीन शिवालयों में गिना जाता है। यहां का शांत और पवित्र वातावरण श्रद्धालुओं को आकर्षित करता है। शिवलिंग की स्थापत्य शैली, पुराने पत्थरों की नक्काशी और परिसर की पारंपरिक संरचना इसे अद्वितीय बनाती है।

संरक्षण की आवश्यकता स्थानीय संगठनों और पुरातत्व विभाग को मिलकर इस मंदिर के संरक्षण हेतु कार्य करना चाहिए।मंदिर की मरम्मत और पुनर्स्थापना एक ऐतिहासिक शोध और मंदिर के इतिहास को संरक्षित करने की प्रक्रिया पर्यटन और धार्मिक गतिविधियों को बढ़ावा देना ऐसे प्रयास न केवल भंवरेश्वर महादेव मंदिर बल्कि आसपास के क्षेत्रों की धरोहरों को भी बचाने में सहायक हो सकते हैं। इसे जन भागीदारी के साथ एक मॉडल प्रोजेक्ट के रूप में विकसित करना लखनऊ की सांस्कृतिक पहचान को समृद्ध करेगा।

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