लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि राज्य सरकार ने युवाओं के सपनों को नई उड़ान देने के लिए उत्तर प्रदेश राज्य फाॅरेन्सिक विज्ञान संस्थान की स्थापना करने का निर्णय लिया। इसी के अनुरूप इसका पहला सत्र प्रारम्भ हो रहा है। इंस्टीट्यूट की आधारशिला वर्ष 2021 में रखी गयी थी। वर्तमान में इसका निर्माण युद्धस्तर पर हो रहा है। शीघ्र ही यह बनकर तैयार हो जाएगा। इंस्टीट्यूट के उद्घाटन की तैयारी भव्यता के साथ चल रही है।
मुख्यमंत्री आज अपने सरकारी आवास पर उत्तर प्रदेश राज्य फाॅरेन्सिक विज्ञान संस्थान के प्रथम शैक्षणिक सत्र 2023-24 के छात्र-छात्राओं से संवाद के अवसर पर अपने विचार व्यक्त कर रहे थे। उन्होंने कहा कि आप सभी विद्यार्थी इस संस्थान की नींव हैं। सभी विद्यार्थियों ने प्रदेश के पहले फाॅरेन्सिक इंस्टीट्यूट में दाखिला लेकर अपने कैरियर को आगे बढ़ाने में रुचि ली है। उनमें से अनेक के लिए यह नया क्षेत्र है। भविष्य इसी क्षेत्र का है। इसमें कैरियर की अनेक सम्भावनाएं हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि आज 05 पाठ्यक्रमों के साथ उत्तर प्रदेश राज्य फाॅरेन्सिक विज्ञान संस्थान का पहला बैच प्रारम्भ होने जा रहा है। वर्तमान सत्र से संस्थान में बी0एस0सी0, एम0एस0सी0 तथा डिप्लोमा के पाठ्यक्रम संचालित किये जा रहे हैं। आने वाले समय में संस्थान में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस तथा मशीन लर्निंग सहित न्यू एज कोर्सेज प्रारम्भ किये जाएंगे। यह संस्थान विश्व स्तर का हो और इसकी ख्याति अच्छी हो इसके लिए संस्थान की फैकल्टी तथा अधिकारियों द्वारा प्रथम बैच की नींव को तैयार किया जाना है। गृह विभाग तथा संस्थान के अधिकारियों को निर्देश दिये गये हैं कि इस संस्थान को विश्वस्तरीय संस्थान के रूप में स्थापित किया जाए। इनमें उसी प्रकार के कोर्सेज प्रारम्भ किये जाएं। इसके लिए देश के अच्छे संस्थानों के साथ फाॅरेन्सिक विज्ञान संस्थान के एम0ओ0यू0 हो रहे हैं तथा उन्हें जोड़ा जा रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि संस्थान के लिए अच्छी फैकल्टी का चयन किया जा रहा है। संस्थान का संचालन उत्तर प्रदेश पुलिस द्वारा किया जा रहा है। फोर्स का पहला नियम अनुशासन होता है। संस्थान की सामान्य कार्ययोजना सहित सभी कार्याें के लिए जवाबदेही तय होनी चाहिए। संस्थान को देश-विदेश में ख्याति दिलाने के लिए प्रथम दिन से ही प्रयास किये जाने चाहिए। सभी के अनुशासन और संस्थान की आन्तरिक व्यवस्था के सुचारु संचालन से संस्थान मजबूती के साथ आगे बढ़ेगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि अगले सत्र से फाॅरेन्सिक विज्ञान संस्थान में बी0टेक, एम0टेक, एल0एल0एम0 के इण्टीग्रेटेड कोर्स तथा अन्य कोर्स प्रारम्भ होंगे। उन स्थितियों के लिए संस्थान अपने आपको तैयार करे तथा स्टडी करे। स्टडी का क्षेत्र बहुत विस्तृत है। सभी अपराधों की प्रकृति के अनुसार स्टडी हो सकती है। विभिन्न घटनाएं क्यों हुईं, उनके कारण क्या हैं, आज पारिवारिक रिश्तों तथा सामाजिक रिश्तों में तनाव क्यों है, इन रिश्तों को बिगाड़ने वाले तत्वों पर स्टडी होनी चाहिए। इसे विभिन्न थानों में उपलब्ध कराया जाना चाहिए। थानों में कार्य का दबाव ज्यादा होता है। इस स्टडी से उन्हें अपने यहां अपराध नियंत्रण में बहुत मदद मिलेगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि स्टडी के लिए एन0सी0आर0बी0 तथा विभिन्न समाचार-पत्रों का रिफरेंस लिया जा सकता है। संवाद से भी अनेक तथ्य सामने आ सकते हैं। यह सभी विद्यार्थियों को फाॅरेन्सिक के क्षेत्र में कार्य करने के लिए रचनात्मकता भी प्रदान करेगा। आप सभी को साक्ष्यों की वैज्ञानिक तरीके से जांच करनी है। इसमें आपकी स्टडी या रिसर्च बहुत उपयोगी हो सकते हैं। आगे चलकर रिसर्च को और विशिष्ट बनाते हुए उसका पेटेंट भी कराया जा सकता है। रिसर्च में नयापन होना चाहिए। इस दृष्टि से आपके लिए नया अवसर है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि जिन विद्यार्थियों ने संस्थान के माध्यम से अपने कैरियर को आगे बढ़ाने का निर्णय लिया है, उनका भविष्य उज्ज्वल है। इसके लिए प्रथम दिन से ही अनुशासन में रहते हुए अपने कार्य पर ध्यान केन्द्रित करें। हमारे उपनिषद कहते हैं कि ‘आ नो भद्राः क्रतवो यन्तु विश्वतः‘ अर्थात ज्ञान को सभी दिशाओं से आने के लिए अपने मस्तिष्क को खुला रखना चाहिए। संकुचित दृष्टिकोण से उबरकर अपने को केन्द्रित करें।
मुख्यमंत्री ने कहा कि एक विस्तृत क्षेत्र आपके पास है। यह आपके लिए यादगार क्षण होगा। आप जीवन में अलग-अलग क्षेत्रों में जाएंगे। सिविल पुलिस की भूमिका के साथ ही आपकी भूमिका भी महत्वपूर्ण है। आपके बिना सिविल पुलिस का कार्य अधूरा है। रूल आॅफ लाॅ तथा गुड गवर्नेंस बनाये रखने के लिए आपकी बड़ी भूमिका है। पुलिस बल में कहा जाता है कि ट्रेनिंग के दौरान परिश्रम करके व्यक्ति जितना पसीना बहाएगा, उतना ही युद्ध भूमि में खून बहाने की नौबत नहीं आएगी। परिश्रम का दूसरा विकल्प नहीं है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सभी विद्यार्थियों को समाज की आवश्यकता से दो कदम आगे की सोच रखते हुए अपनी दृष्टि को विस्तार देना होगा। कानून-व्यवस्था को चुनौती देने वाले लोगों की सोच से बड़ी सोच रखकर ही आप उन्हें नियंत्रित कर पाएंगे। इसके लिए अपने कार्य में निरन्तरता लाने के साथ ही विभिन्न राज्यों, जनपदों तथा जोन में होने वाले अपराधों की प्रकृति पर स्टडी पेपर लिखे जाने चाहिए। कोई भी संस्थान यदि रिसर्च से दूर रहेगा, तो आगे नहीं बढ़ पाएगा।
मुख्यमंत्री ने विश्वास व्यक्त करते हुए कहा कि आप अपना कार्य बुद्धि और विवेक का प्रयोग करते हुए करेंगे तो प्रदेश सरकार को यह संतुष्टि होगी कि उत्तर प्रदेश ने देश को फाॅरेन्सिक के क्षेत्र में एक अच्छा संस्थान दिया है। उन्होंने कहा कि संस्थान के पहले सत्र में प्रवेश लेने वाले विद्यार्थियों में लगभग 40 प्रतिशत बालिकाएं हैं। यह अच्छा और सकारात्मक कार्य है। नर्सिंग के क्षेत्र में बालिकाओं का हमेशा दबदबा रहा है। अब फाॅरेन्सिक के क्षेत्र में भी उनके लिए बहुत सी सम्भावनाएं हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारे समाज में रूल आफ लाॅ, लोकतंत्र तथा सुशासन का अत्यन्त महत्व है। यदि समाज में किसी को समयबद्ध तरीके से न्याय नहीं मिलता या न्याय सस्ता और सरल नहीं है, तो यह शब्द बेकार हो जाते हैं और इनके मायने बदल जाते हैं। आम जनमानस का भरोसा पुलिस, प्रशासन तथा संवैधानिक संस्थाओं के प्रति बना रहे यह सभी के हित में है। इस दृष्टि से प्रदेश के पहले उत्तर प्रदेश राज्य फाॅरेन्सिक विज्ञान संस्थान के प्रथम शैक्षणिक सत्र 2023-24 की शुरुआत की जा रही है। इसमें छात्र-छात्राओं के लिए भविष्य निर्माण की अनेक सम्भावनाएं हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि आवश्यक है कि आप सभी स्वयं को सदैव अपडेट करें। समय के अनुसार अपराध की प्रकृति, समाज की मांग एवं तकनीक के अनुरूप अपने को तैयार करें, तभी आप एक काॅमन मैन के साथ न्याय कर पाएंगे। इसलिए भी प्रदेश सरकार ने उत्तर प्रदेश राज्य फाॅरेन्सिक विज्ञान संस्थान की स्थापना का निर्णय लिया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तर प्रदेश देश की सर्वाधिक आबादी वाला राज्य है। यहां 25 करोड़ जनसंख्या निवास करती है। उनकी अपेक्षाओं तथा आकांक्षाओं को आगे बढ़ाने के लिए संस्थान के स्तर पर प्रयास किये जाने चाहिए। आज प्रदेश के हर जोन व रेंज में एफ0एस0एल0 बन रही है। वर्ष 2017 में प्रदेश में केवल दो साइबर थाने थे। आज इनकी स्थापना हर रेंज में की गयी है। उत्तर प्रदेश में 1537 थाने हैं। इन सभी में साइबर हेल्प डेस्क के साथ ही ट्रेण्ड मैनपावर की आवश्यकता है। एफ0एस0एल0 में वैज्ञानिकों व तकनीशियनों की कमी को दूर करने के लिए उत्तर प्रदेश राज्य फाॅरेन्सिक विज्ञान संस्थान के विद्यार्थी माध्यम बनेंगे। आपको स्वयं को इसके लिए तैयार करना होगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश के सभी 75 जनपदों में विभिन्न प्रकार के तथा विभिन्न प्रवृत्तियों के अपराधों पर नियंत्रण के लिए मिशन मोड पर कार्य किया गया है, जिसके परिणामस्वरूप उत्तर प्रदेश की कानून-व्यवस्था मजबूत व नियंत्रित है। प्रदेश में शान्ति है। इसके लिए विभिन्न जनपदों में अपराधों की प्रकृति के अनुरूप उनसे निपटने के लिए अधिकारियों की तैनाती की गयी। अधिकारियों ने संवाद से, पुलिस बल का प्रयोग कर तथा समाज की आवश्यकताओं के अनुरूप कार्य कर कानून-व्यवस्था को नियंत्रित करने में योगदान दिया।
इस अवसर पर प्रमुख सचिव मुख्यमंत्री, गृह एवं सूचना श्री संजय प्रसाद ने मुख्यमंत्री की प्रेरणा और दूरदर्शी मार्गदर्शन के लिए आभार व्यक्त करते हुए कहा कि शिक्षा और शिक्षण संस्थाओं से मुख्यमंत्री का लगाव व जुड़ाव जगजाहिर है। उत्तर प्रदेश राज्य फाॅरेन्सिक विज्ञान संस्थान की स्थापना में प्रत्येक स्तर पर मुख्यमंत्री के मार्गदर्शन का बहुत लाभ मिला है। उन्हीं की प्रेरणा से संस्थान के प्रथम बैच की शुरुआत हो रही है।
इस अवसर पर पुलिस महानिदेशक श्री विजय कुमार, स्पेशल डी0जी0पी0 कानून-व्यवस्था श्री प्रशान्त कुमार, उत्तर प्रदेश राज्य फाॅरेन्सिक विज्ञान संस्थान के निदेशक श्री डाॅ0 जी0के0 गोस्वामी, सूचना निदेशक श्री शिशिर व अन्य वरिष्ठ अधिकारी एवं संस्थान के फैकल्टी सदस्य तथा विद्यार्थी उपस्थित थे।